मुख्य सचिव डॉ. एस.एस. संधु ने शुक्रवार को सचिवालय में प्रधानमंत्री इम्प्लॉयमेंट जेनरेशन प्रोग्राम एवं मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना की समीक्षा की।
मुख्य सचिव ने निर्देश दिए कि सभी जिलाधिकारी इन योजनाओं के लिए विशेष अभियान चलाएं ताकि अधिक से अधिक लोग इन महत्वपूर्ण योजनाओं का लाभ उठा सकें। उन्होंने बैंकों को भी निर्देश दिए कि निर्धारित टारगेट को पूर्ण करने के लिए 15 दिसंबर तक आवेदन को स्वीकृत करने के प्रयास किए जाएं। उन्होंने कहा कि जिन आवेदनों को छोटी-छोटी त्रुटियां दूर करके स्वीकृत किया जा सकता है, ऐसे आवेदनों में विशेष फोकस किया जाए, ताकि रिजेक्शन कम से कम हो।
मुख्य सचिव ने जिलाधिकारियों को निर्देश दिए कि एप्लीकेशन की स्क्रूटिनी के लिए एक ऐसा मैकेनिज्म तैयार करें ताकि क्वालिटी एप्लीकेशन बैंकों तक जाएंगी, इससे भी आवेदनों का रिजेक्शन कम से कम होगा। उन्होंने उद्योग मित्र बैठकों को लगातार आयोजित किए जाने के भी निर्देश दिए। कहा कि मैदानी क्षेत्रों में प्रत्येक माह एवं पर्वतीय जनपदों ने प्रत्येक 2 माह में उद्योग मित्र बैठक आयोजित की जाए। उन्होंने कहा कि किसी भी प्रकार की समस्या के लिए टाइम बाउंड सॉल्यूशन किए जाने की आवश्यकता है, तभी किसी योजना का अधिक से अधिक लाभ अर्जित किया जा सकेगा। उन्होंने अधिकारियों को उद्योगों को स्थापित करने हेतु लैंड बैंक बनाए जाने के भी निर्देश दिए। कहा कि हमें सॉल्यूशन फाइंडर की भूमिका निभानी है, तभी किसी समस्या का हल निकाला जा सकेगा।
मुख्य सचिव ने बैंकों से भी कहा कि जिन योजनाओं के लिए बैंक लोन चुकाने का समय 15 साल निर्धारित किया गया है, बहुत से बैंक उन योजनाओं के लिए 5 से 7 साल के लिए ही ऋण दे रहे हैं। उन्होंने बैंकों को निर्देश दिए कि निर्धारित समय सीमा के लिए ही ऋण दिया जाए, तभी आवेदक योजनाओं का लाभ लेने को प्रोत्साहित होंगे। उन्होंने कहा कि इन सभी योजनाओं का मुख्य उद्देश्य बेरोजगारी को कम करना है। हमारा टारगेट अधिक से अधिक बेरोजगारों को इन योजनाओं का लाभ दिलाकर अर्थव्यवस्था को मजबूत करना है।
इस अवसर पर सचिव श्री अमित नेगी, महानिदेशक उद्योग श्री रोहित मीणा सहित सभी जनपदों के जिलाधिकारियों सहित बैंकों के सम्बन्धित उच्चाधिकारी भी उपस्थित थे।

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